आप कुछ ऐसे डॉक्टर,
इंजिनीयर, बैँक मैनेजर
का नाम बताओ भारत के,
जिसको पूरा विश्व
जानता हो..??
शायद आप एक भी नाम
ना बता पाओ...!!
फिर आप बच्चोँ को ऐसी
बात की शिक्षा दिलवाने
पर क्योँ तुले हो, जिससे
उसे सिर्फ आपका खानदान
और आपक मुहल्ला जाने..??
हर किसी
को भगवान एक विशेश
टैलेन्ट देकर भेजते हैँ, पर
माता-पिता उस टैलेँट को
बचपन मेँ ना पहचान कर
बच्चोँ को अपने हिसाब से
चलाने और बनाने मेँ लग
जाते हैँ,
और आज यही कारण है
विश्व और भारत मेँ प्रसिद्ध
लोग ऊँगलियो पर गिने
जाते हैँ ।
आपका बेटा चीनी का तत्व
लेकर आता है, आप उसमेँ
नमक ढूँढने लगते हैँ ।
आपके बेटे की जन्म कुंडली
मेँ शुक्र(कलाकार) मजबूत
मिलता है, आप उसको पुलिस
(मंगल) बनाना चाहते हैँ ।
आपके बेटे की जन्म कुडली
मे बुध(गायक) मजबूत मिलता
है आप उसको प्रोफेशर(गुरू)
बनाना चाहते हैँ ।
आप ही बताएँ चिनी को
अगर आप नमक बना भी
देँगे, तो वो कैसा स्वाद
देगा..??
और नमक को चीनी बना
देँगे तो वो कैसा स्वाद देगा.?
आपके बेटे-बेटी आकाश
से एक विशेश गुण और
टैलेँट लेकर आए हैँ, और
आएँगे..,
आप उसमेँ अपने हिसाब
से गुण और टैलेँट भरेँगे
तो वो बेस्वाद हो जाएँगे,
जैस विश्व के 90% लोग
साधारण काम ही करते
हैँ, और गुमनामी की जिँदगी
जिते हैँ, आप का बच्चा भी
वैसे ही जिएगा..??
आप अपने बच्चोँ को मुहल्ले
के लेवल पर लाने की ना
सोच कर विश्व लेवल पर
लाने की सोँचे, उसके अंदर
क्या गुण छुपा है, क्या टैलेँट
छुपा है... वो जानेँ ।
आप उसके टैलेँट को
बचपन मेँ ही जान कर
उसको पढ़ाई-लिखाई के
साथ-साथ, वह शिक्षा
दिलवाएँ, जो वह अपने
साथ लेकर आया है ।
आपके साथ देने से
आपके बच्चे के अंदर जो
भी टैँलेट का बीज है, वो
एक दिन वृक्ष बन जाएगा
आपके बच्चे का वर्ल्ड लेवल
पर नाम होगा ।
और गुण को नहीँ पहचानेँगे
तो टैलेँट रूपि बीज, वृक्ष
बनने से पहले ही मर जाएगा ।
और ज्यादा जबरदस्ती का
काम उसको सोपेँगे.. जो
उससे हो ही नही सकता,
तो वह महानायक का बेटा
फ्लोप अभिषेक बन कर
"नो आइडिया" बस
बोलता रह जाएगा ।
.
.
अब आप सोच रहेँ होगेँ
"मेरे हो चुके, या होने
वाला बच्चा क्या गुण, क्या
टैलेँट लेकर आएगा, इस
बात का पता कैसे लगेगा..??"
दो आसान तरीका मै आपको
अपने अनुभव से बता रहा हूँ-
1. किसी झोला छाप नहीँ
किसी शास्त्रीय विद्वान
ज्योतिष के पास अपने
बच्चे की जन्म कुंडली लेकर
जाएँ, सिर्फ वह ही आपको
बता सकते हैँ कि बच्चे के
अंदर क्या करने का गुण
और टैलेँट मौजूद है ।
2. आप लता के पिता
दीनानाथ मंगेशकर
और मुंशी प्रेमचंद के माता
पिता के जैसा, अपने बच्चोँ
पर ध्यान देँगे, तो आपको
बचपन से लगने लगेगा
इसमेँ ये खूबी है इसमेँ
टैलेँट है.., मुझे स्कूल के
किताब कॉपी के साथ
साथ अलग से ये शिक्षा
भी दिलानी चाहिए ।
वो अलग वाला शिक्षा, खेल,
गायन, अभिनय, एस्ट्रोलॉजी
डान्स, अध्यात्म, जादू, मशखरा
पेँटिँग, लेखन आदि मेँ से
कुछ का भी हो सकता है ।
पर पहले बच्चे का टैलेँट
जरूर पता कर लेँ ।
"उसे अपने दिल की करने
दे, उसे अपने स्वभाव की
करने देँ, एक दिन वो अपना
और आपका नाम रौशन
कर आएगा ।।
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.
-कायस्थ वीर
एक दिन वो अपना और आपका नाम रौशन कर आएगा
आप नमक मेँ चीनी की
मिठास ढूँढोगे तो मिलेगा
क्या...??
आप चीनी मेँ नमक का
स्वाद ढूँढोगे तो मिलेगा
क्या..??
नहीँ ना.?